Employment Age Reduced – आज के समय में हर नौकरीपेशा व्यक्ति की चिंता रहती है कि बुढ़ापे में उसका क्या होगा, खर्च कैसे चलेगा और क्या उसे नियमित पेंशन मिलेगी या नहीं। ऐसे में अगर यह बताया जाए कि अब आपको 25-30 साल तक नौकरी करने की ज़रूरत नहीं है, बल्कि सिर्फ 10 साल काम करने के बाद भी आपको EPFO की ओर से पेंशन मिलने लगेगी, तो यह लाखों कर्मचारियों के लिए किसी खुशखबरी से कम नहीं होगी। सरकार ने 2025 से EPFO (Employees’ Provident Fund Organisation) के नियमों में बड़ा बदलाव किया है, जिससे कम नौकरी की अवधि वाले लोग भी अब पेंशन के हकदार बनेंगे। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि नया नियम क्या है, कौन लोग लाभ उठा सकते हैं, किस तरह पेंशन की गणना होगी और इससे आपके भविष्य की आर्थिक स्थिति पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
EPFO पेंशन स्कीम में नया बदलाव क्या है?
EPFO द्वारा संचालित EPS (Employees’ Pension Scheme) के अंतर्गत अब पात्रता की न्यूनतम अवधि 10 साल ही रखी गई है। पहले यह धारणा थी कि 15 से 20 साल की सेवा के बाद ही कोई कर्मचारी पेंशन के लिए पात्र होगा, लेकिन अब सिर्फ 10 साल तक सेवा करने वाले कर्मचारी भी रिटायरमेंट के बाद पेंशन प्राप्त कर सकेंगे।
नए नियम के मुख्य बिंदु:
- अब केवल 10 साल की सेवा पर भी EPS पेंशन मिलेगी।
- यह बदलाव 1 जनवरी 2025 से लागू होगा।
- सभी संगठित क्षेत्र के कर्मचारी इसके अंतर्गत आएंगे।
- कम वेतन वाले कर्मचारियों को अधिक राहत मिलेगी।
पेंशन कैसे मिलेगी – समझिए पूरा फॉर्मूला
EPFO द्वारा पेंशन की गणना के लिए एक विशेष फॉर्मूला लागू होता है जिसे नए नियम के अनुसार संशोधित किया गया है।
फॉर्मूला है:
(पेंशन योग्य वेतन × सेवा के वर्ष) ÷ 70 = मासिक पेंशन
उदाहरण:
मान लीजिए किसी कर्मचारी ने 10 साल नौकरी की और उसका अंतिम 12 महीनों का औसत वेतन ₹15,000 रहा, तो पेंशन की गणना इस प्रकार होगी:
(15000 × 10) ÷ 70 = ₹2,142 प्रति माह
इस तरह उस व्यक्ति को रिटायरमेंट के बाद ₹2,142 प्रति माह पेंशन मिलती रहेगी।
किन लोगों को मिलेगा सीधा लाभ?
इस बदलाव से सबसे ज्यादा लाभ उन कर्मचारियों को होगा:
- जिन्होंने 10-12 साल तक ही नौकरी की है और बीच में नौकरी छोड़ दी।
- महिलाएं जो शादी या पारिवारिक कारणों से जल्दी नौकरी छोड़ देती हैं।
- छोटे व्यवसायों और प्राइवेट कंपनियों में कार्यरत कर्मचारी।
- ऐसे लोग जो कम उम्र में नौकरी शुरू करके किसी कारणवश जल्दी रिटायर होते हैं।
असली ज़िंदगी के उदाहरण से समझिए
अनुपमा शर्मा, जो कि दिल्ली की एक निजी स्कूल में शिक्षक थीं, उन्होंने 2008 से 2018 तक कुल 10 साल नौकरी की। फिर पारिवारिक कारणों से नौकरी छोड़ दी। पहले उन्हें जानकारी नहीं थी कि वे पेंशन की हकदार हो सकती हैं, लेकिन नए नियम के अनुसार अब वे EPS पेंशन के लिए पात्र हो गई हैं।
राकेश वर्मा, जो एक मैन्युफैक्चरिंग यूनिट में काम करते थे, उन्होंने 12 साल तक काम किया और फिर स्वास्थ्य कारणों से काम छोड़ दिया। अब 58 की उम्र में उन्हें हर महीने ₹2200 की EPFO पेंशन मिल रही है।
ऐसे कई उदाहरण हैं जहां यह नियम लोगों के जीवन में आर्थिक स्थिरता लाने का काम कर रहा है।
किन दस्तावेजों की होगी ज़रूरत?
अगर आप 10 साल की नौकरी पूरी कर चुके हैं और अब पेंशन के लिए आवेदन करना चाहते हैं तो नीचे दिए गए दस्तावेज आपके पास होने चाहिए:
- UAN नंबर
- सेवा अवधि का प्रूफ (EPFO पासबुक या अनुभव पत्र)
- आधार कार्ड और पैन कार्ड
- बैंक खाता विवरण
- फॉर्म 10D (पेंशन क्लेम के लिए)
आवेदन कैसे करें?
आप EPFO की वेबसाइट के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं:
- https://unifiedportal-mem.epfindia.gov.in पर लॉगिन करें
- UAN नंबर और पासवर्ड डालें
- “Online Services” में जाएं और “Claim (Form-10D)” चुनें
- जरूरी जानकारी भरें और दस्तावेज अपलोड करें
- 15-20 कार्यदिवस में पेंशन प्रक्रिया शुरू हो जाएगी
नया नियम क्यों है खास?
- इससे नौकरी छोड़ने के बाद भी भविष्य सुरक्षित रहता है।
- महिलाएं और छोटे कर्मचारियों को अधिक लाभ मिलेगा।
- EPFO में पहले से योगदान करने वालों को अब क्लेम का अधिकार मिलेगा।
- जीवन के अंतिम पड़ाव में आर्थिक सहारा बनेगी यह योजना।
क्या नौकरी छोड़ने के बाद भी मिलेगा लाभ?
जी हां, यदि आपने नौकरी छोड़ दी है लेकिन आपकी कुल सेवा अवधि 10 साल या उससे अधिक रही है और आपने EPS के अंतर्गत योगदान दिया है, तो आप पेंशन के लिए पात्र हैं। आपको बस फॉर्म 10D के माध्यम से क्लेम करना होगा।
भविष्य के लिए क्या योजना बनाएं?
- EPF खाते में नियमित योगदान करें
- UAN से जुड़े सभी विवरण अपडेट रखें
- सेवा समाप्ति के बाद भी EPFO पोर्टल पर निगरानी रखें
- पेंशन क्लेम के लिए समय पर आवेदन करें
2025 से EPFO की पेंशन नीति में जो बदलाव हुए हैं, वे देश के लाखों कर्मचारियों के लिए राहत की खबर हैं। अब केवल 10 साल की सेवा पर भी पेंशन मिलना एक बड़ी बात है, खासकर उन लोगों के लिए जो पूरी नौकरी नहीं कर पाते। यह नया नियम न सिर्फ आर्थिक सुरक्षा देता है, बल्कि लोगों को यह भरोसा भी देता है कि कम सेवा काल में भी उनका भविष्य सुरक्षित रहेगा।
अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
प्रश्न 1: क्या 10 साल की नौकरी के बाद भी EPFO पेंशन का लाभ मिलेगा?
उत्तर: हां, 2025 से यह नियम लागू है कि 10 साल सेवा पूरी करने पर भी कर्मचारी EPS पेंशन का लाभ उठा सकते हैं।
प्रश्न 2: पेंशन के लिए कितनी उम्र जरूरी है?
उत्तर: EPFO के तहत पेंशन प्राप्त करने के लिए न्यूनतम उम्र 58 वर्ष है।
प्रश्न 3: अगर किसी ने बीच में नौकरी छोड़ दी तो क्या वह पेंशन पा सकता है?
उत्तर: अगर उसकी कुल सेवा अवधि 10 साल या उससे ज्यादा है, तो वह पेंशन क्लेम कर सकता है।
प्रश्न 4: EPFO पेंशन की राशि कितनी होती है?
उत्तर: यह कर्मचारी के वेतन और सेवा अवधि पर निर्भर करती है। औसतन ₹1,000 से ₹3,500 प्रति माह तक हो सकती है।
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प्रश्न 5: पेंशन क्लेम के लिए कहां आवेदन करना होगा?
उत्तर: EPFO की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर UAN लॉगिन से फॉर्म 10D भरकर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।




